शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे ने शिवसेना विधायकों की अयोग्यता मामले में फैसला नहीं सुनाये जाने पर रिटायर्ड CJI डी वाई चंद्रचूड़ पर निशाना साधा है.
महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव से पहले शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे ने शनिवार (17 नवंबर) को पूर्व सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़ को लेकर चौंकाने वाला बयान दिया है. उन्होंने एक इंटरव्यू में पूर्व सीजेआई पर निशाना साधते हुए कहा कि चंद्रचूड़ न्याय देने के बजाय एक टिप्पणीकार बनकर रह गए. उन्होंने डीवाई चंद्रचूड़ को लेकर अपनी नाराजगी भी जाहिर की.
उद्धव ठाकरे ने कहा कि वह हाल ही में रिटायर्ड हुए सीजेआई डी वाई चंद्रचूड़ से “निराश” हैं क्योंकि उन्होंने शिवसेना विधायकों की अयोग्यता मामले में फैसला नहीं सुनाया. टीओआई को दिए गए एक इंटरव्यू में उद्धव ने कहा कि अगर चंद्रचूड़ न्यायाधीश के बजाय कानून के लेक्चरर होते तो उन्हें ज्यादा प्रसिद्धि मिलती.”
भाजपा की तुलना में कांग्रेस में अधिक मानवता
उद्धव ने कहा कि अभी वाली भाजपा सरकार चालाक है, उन्हें कांग्रेस नेतृत्व सम्मानजनक और आम सहमति वाला लगा. उन्होंने कहा “राहुल जी, सोनिया जी, प्रियंका जी और खरगे जी. ये सारे लोग बहुत सम्मानजनक रहे हैं. भले ही हम सत्ता में नहीं हैं. आज की भाजपा की तुलना में कांग्रेस में अधिक मानवता है. आज की भाजपा सिर्फ इस्तेमाल करो और फेंक दो वाली है. उन्होंने कहा कि अगर भाजपा के देवेंद्र फडणवीस फिर से मुख्यमंत्री बन गए तो महाराष्ट्र खत्म हो जाएगा.
‘किसी को उपहार में नहीं दे सकते मुंबई’
अडानी-धारावी मुद्दे पर उद्धव ने कहा कि वे किसी व्यक्ति के खिलाफ नहीं हैं, लेकिन जिस तरह से मुंबई को अडानी को उपहार में दिया जा रहा है, वह मंजूर नहीं है. उन्होंने आगे कहा, “जैसे अंग्रेजों के समय में मुंबई को दहेज के रूप में दिया गया था, हम मुंबई को किसी को उपहार में नहीं दे सकते. सरकार का फैसला जनता करेगी, अडानी नहीं. मैं जब सीएम था तब गौतम अडानी से मिला था, लेकिन यह धारावी के लिए किसी टेंडर से संबंधित नहीं था. जिस तरह से मुंबई को अडानी को उपहार में दिया जा रहा है, यही कारण है कि मेरी सरकार गिरा दी गई.”
‘भाजपा के पास बात करने के लिए नहीं है कोई असली मुद्दा’
भाजपा के “बटेंगे तो कटेंगे” नारे पर उद्धव ने कहा “जब मैं सीएम था, तब किसी को नहीं काटा गया. वास्तव में भाजपा शासित राज्यों में आग लगी हुई थी. उनके पास बात करने के लिए कोई असली मुद्दा नहीं है, इसलिए वे इसका सहारा ले रहे हैं. वे महाराष्ट्र चुनाव में पाकिस्तान के बारे में बात कर रहे हैं. ये मुद्दे इधर-उधर का हैं.”
उद्धव ने कहा, “वह मुख्यमंत्री बनने का सपना नहीं देख रहे हैं और उनकी प्राथमिकता महाराष्ट्र को लूटने वालों को हराना है. अमित शाह ने अब फडणवीस को मुख्यमंत्री के रूप में संभावित घोषित कर दिया है, क्या शिंदे और अजित पवार इससे सहमत हैं? क्या शिंदे भाजपा के नेतृत्व में उपमुख्यमंत्री बनेंगे? वो समय कभी नहीं आएगा एमवीए सरकार बनाएगी.”