मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान द्वारा अगले स्वतंत्रता दिवस तक पंजाब को नशा मुक्त राज्य बनाने की वचनबद्धता को साकार करने के मद्देनजऱ डायरैक्टर जनरल ऑफ पुलिस (डीजीपी) पंजाब गौरव यादव ने मंगलवार को पठानकोट में नशा सप्लाई नेटवर्क को ख़त्म करने और नशा तस्करी पर रोक लगाने के लिए एक उचित रणनीति तैयार करने हेतु वहां की 44 ग्रामीण स्तरीय रक्षा समितियों (वी.एल.डी.सी.) के साथ अहम बैठक की।
जि़क्रयोग्य है कि वी.एल.डी.सी., सुरक्षा बलों की ‘आँखें और कानों’ के रूप में काम करते हैं और ड्रग नेटवर्क पर रोक लगाने सम्बन्धी असल जानकारी प्राप्त करने में ज़मीनी स्तर पर महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
डीजीपी ने समूह वी.एल.डी.सीज. को एकजुट होकर टीमों के तौर पर काम करने का न्योता देते हुए कहा कि पंजाब पुलिस ने राज्य में से नशों को जड़ से खत्म करने के लिए तीन-नुक्ता रणनीति-एन्फोर्समैंट, नशा मुक्ति और रोकथाम को लागू किया है। इस मौके पर उनके साथ आईजी बॉर्डर रेंज अमृतसर नरिन्दर भार्गव, डीआईजी बीएसएफ गुरदासपुर, डिप्टी कमिश्नर पठानकोट हरबीर सिंह और एसएसपी पठानकोट हरकमल प्रीत सिंह खक्ख भी मौजूद थे।
इस ऐतिहासिक पल में, पठानकोट के 44 वीएलडीसीज़ ने नशों से सम्बन्धित मुद्दों के विरुद्ध स्टैंड लिया है और अपने गाँवों को ‘‘नशा मुक्त जोन’’ घोषित किया है। वीएलडीसीज़ के प्रतिनिधियों ने अपने इलाके से नशों की बीमारी को ख़त्म करने के लिए पंजाब पुलिस के साथ मिलकर काम करने का प्रण लिया।
सशक्तिकरण और मान्यता के प्रतीक के तौर पर, डीजीपी पंजाब गौरव यादव ने वीएलडीसीज़ को नये पहचान पत्र और विशेष जैकेट्स प्रदान कीं, जिससे उनकी पहचान की जा सके और कानून लागू करने वालों को सहयोग दिया जा सके। उन्होंने बाढ़ संकट के दौरान वीएलडीसीज़ द्वारा दिखाए गए असाधारण समर्पण और दिलेरी की भी सराहना की और बढिय़ा कारगुज़ारी करने वाले दो वीएलडीसीज़ को उनकी बेमिसाल सेवाओं के लिए सम्मानित किया।
बैठक के दौरान, डीजीपी गौरव यादव ने रीयल-टाईम सभा और इन्फर्मेशन शेअरिंग के द्वारा पुरानी मानवीय ख़ुफिय़ा जानकारी को पुन: सुरजीत करने की ज़रूरत पर ज़ोर दिया। उन्होंने ज़ोर देते हुए कहा कि सरहदी चुनौतियों को हल करने के लिए सामूहिक यत्न बहुत महत्वपूर्ण हैं।
उन्होंने पुलिस के साथ नशों सम्बन्धी महत्वपूर्ण जानकारी साझा करने और समाज में कानून लागू करने वालों के बीच समय पर महत्वपूर्ण ख़ुफिय़ा जानकारी के आदान-प्रदान को सुचारू बनाने के लिए विलेज पुलिस अफसरों ( वीपीओज़) को नयी बीट बुक्स उपलब्ध कराने के आदेश दिए।
जि़क्रयोग्य है कि डीजीपी पंजाब द्वारा ड्रोन की गतिविधियों के बारे में जानकारी देकर हथियारों या नशीले पदार्थों की बरामदगी कराने में सहायता करने वाले व्यक्तियों के लिए 1 लाख रुपए के इनाम की पेशकश करके पहले ही महत्वपूर्ण ऐलान किया है। इस सक्रिय उपाय का उद्देश्य ग़ैर-कानूनी गतिविधियों को रोकना और पंजाब की सरहद पर सुरक्षा को बढ़ाना है।
गौरतलब है कि डीजीपी पंजाब गौरव यादव ने दो नये बने पुलिस स्टेशनों-सदर और तारागढ़ का उद्घाटन भी किया, जिससे आम लोगों को निर्विघ्न और कुशल पुलिस सेवाएं प्रदान करने की वचनबद्धता को और मज़बूत किया गया है। यह आधुनिक सुविधाएं कानून लागू करने के यत्नों और आपसी-भाईचारे को मज़बूत करने के लिए उपलब्ध हैं