चंडीगढ़। हरियाणा सरकार ने एक ऐतिहासिक कदम उठाते हुए ‘फ्यूचर विभाग’ (Department of Future) के गठन को मंजूरी दे दी है। मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने इस महत्वाकांक्षी पहल को अंतिम रूप दिया है, जिसका उद्देश्य राज्य के नीति निर्माण को दूरदर्शिता, डेटा विश्लेषण और तकनीकी विशेषज्ञता के आधार पर संचालित करना है। इस संबंध में राज्यपाल की मंजूरी के बाद अधिसूचना जारी कर दी गई है। मुख्यमंत्री सैनी ने कहाकि 21वीं सदी की सरकारें केवल वर्तमान की जरूरतों को ही नहीं, बल्कि भविष्य की चुनौतियों को भी समझकर नीतियां बनाएंगी। इस विभाग का प्रमुख कार्य जलवायु परिवर्तन, तकनीकी क्रांति, बढ़ती जनसंख्या और वैश्विक अनिश्चितताओं जैसे भविष्य के बदलावों का गहन अध्ययन और पूर्वानुमान लगाना है। यह विभाग सभी विभागों की योजनाओं का समन्वय करते हुए दीर्घकालिक रणनीतियाँ विकसित करेगा, ताकि शासन को ‘प्रतिक्रियाशील’ से ‘सक्रिय’ बनाया जा सके।

‘फ्यूचर विभाग’ का मुख्य फोकस अत्याधुनिक तकनीकों जैसे आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, मशीन लर्निंग, क्वांटम कंप्यूटिंग और रोबोटिक्स के उपयोग को नीति निर्माण से जोड़ना होगा। यह विभाग मानव संसाधन, शिक्षा, स्वास्थ्य, ऊर्जा, कृषि और पर्यावरण जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में भविष्य की चुनौतियों की पहचान करेगा। इसके अलावा, यह युवाओं के लिए भविष्य के कौशल (Future Skills) विकसित करने वाली योजनाओं पर भी काम करेगा, जिससे बदलती दुनिया में उन्हें नए अवसर मिल सकें।
मुख्यमंत्री ने इस पहल को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘विकसित भारत @2047’ के लक्ष्य को साकार करने में हरियाणा का महत्वपूर्ण योगदान बताया। उन्होंने कहा कि यह विभाग केंद्र, राज्य और प्रौद्योगिकी के समन्वय से हरियाणा को एक सशक्त भविष्य की ओर ले जाएगा। उन्होंने जोर देकर कहा कि यह विभाग केवल नीतियां नहीं बनाएगा, बल्कि हरियाणा की कार्यशैली और दृष्टिकोण को बदलने वाला एक संस्थान बनेगा, जो राज्य के सतत विकास और नवाचार आधारित शासन की नींव रखेगा।