राज्य में यह ऑनलाइन ट्रेडिंग का घोटाला अगस्त के महीने में सामने आया था जब 29 वर्षीय दीपांकर बर्मन की कंपनी में बड़ी मात्रा में इन्वेस्टर्स को उनका रिटर्न वापस नहीं दिया गया.
असम सरकार की सिफारिश के बाद सीबीआई ने असम में 41 मामलों की जांच अपने हाथ में ले ली है. ये सभी मामले अलग अलग अनियमित जमा योजनाएं (Unregulated Deposit Schemes) से जुड़ी हैं, जिनमें इनवेस्टर्स को धोखा देकर पैसा लगाया गया था. जांच के तहत सीबीआई ने पांच राज्यों में 92 जगहों पर छापेमारी की. इस छापेमारी में सीबीआई ने 24 मोबाइल फोन, 18 डेस्कटॉप, सात हार्ड ड्राइव और 11 लैपटॉप जब्त किए गए है.
जांच के दौरान सीबीआई ने उन इन्वेस्टर्स का डाटा ट्रेस किया है. जिन्हें इन योजनाओं में इन्वेस्ट करने के लिए गुमराह किया गया था, जिनके साथ धोखाधड़ी हुई थी. ये मामला एजेआरएस मार्केटिंग प्रा. लिमिटेड से संबंधित है. मामले में सीबीआई ने मुख्य आरोपी दीपांकर बर्मन को गिरफ्तार कर लिया है. जो एफआईआर दर्ज होने के बाद से फरार था. उसे सिलीगुड़ी से गिरफ्तार किया गया है. जहां से सीबीआई को कई सबूत भी बरामद हुए है. सिलीगुड़ी से गिरफ्तार करने के बाद आरोपी को सीबीआई ने विशेष अदालत में पेश किया और पूछताछ के लिए रिमांड पर लिया है. मामले की जांच अभी जारी है.
21 अगस्त से लेकर अब तक फरार था बर्मन
राज्य में यह ऑनलाइन ट्रेडिंग का घोटाला अगस्त के महीने में सामने आया था जब 29 वर्षीय दीपांकर बर्मन की कंपनी में बड़ी मात्रा में इन्वेस्टर्स को उनका रिटर्न वापस नहीं दिया गया. 21 अगस्त से लेकर अब तक दीपांकर बर्मन का कार्यालय बंद है. असम पुलिस ने मुख्य आरोपीय बर्मन, बिशाला फ़ुकन, अभिनेत्री समी बोरा और उसके पति समेत कई लोगों को गिरफ्तार किया है. ऑनलाइन ट्रेडिंग कैसे घोटाले में अब तक सीबीआई ने 18 लोगों को अरेस्ट किया है.
इसके पहले तीन राज्यों की 16 जगहों पर छापामारी
इसके पहले सीबीआई ने अवैध खनन घोटाले के सिलसिले में झारखंड के नींबू पहाड़ी इलाके में 16 जगहों पर छापामारी की थी. सीबीआी ने स्टोन माइनिंग से जुड़े मामले में ये छापामारी की थी. ये 16 तीन राज्यों की अलग अलग जगहें है, जहां पर पहले सर्च ऑपरेशन चलाया गया था. ये छापामारी बिहार, पटना और झारखंड के रांची में हुई थी. सीबीआई को यहां से भारी मात्रा में सोना, चांदी और लाखों रुपये का कैश मिला था.