
तीन दिन की गिरावट के बाद शेयर बाजार ने जोरदार वापसी की है। बुधवार को शुरू हुई तेजी गुरुवार को भी जारी रही और सेंसेक्स व निफ्टी दोनों अपने लाइफटाइम हाई स्तर तक पहुंच गए। निफ्टी 26,300 के पार जबकि सेंसेक्स पहली बार 86,000 के ऊपर गया। सुबह के कारोबार में निफ्टी 0.28% बढ़कर 26,278 पर और सेंसेक्स 0.34% चढ़कर 85,903 पर ट्रेड करता दिखाई दिया।
मार्केट एक्सपर्ट्स के अनुसार, मजबूत मैक्रोइकोनॉमिक माहौल, तीसरी तिमाही में बेहतर कारोबारी नतीजों की उम्मीद और FY26 की दूसरी छमाही में कॉर्पोरेट अर्निंग्स के सुधरने की संभावना बाजार में तेजी का मुख्य कारण है। विशेषज्ञों का कहना है कि अगर सेंसेक्स अपने पिछले ऑल-टाइम हाई 85,978 के ऊपर बंद होता है, तो उन सेक्टर्स में भी रिवाइवल की उम्मीद बढ़ेगी, जिन्होंने पिछले एक साल में खराब प्रदर्शन किया है।
बाजार में तेजी की एक बड़ी वजह अमेरिकी फेडरल रिजर्व से ब्याज दरों में कटौती की बढ़ती उम्मीदें हैं। कमजोर अमेरिकी कंज्यूमर डेटा ने अगले महीने रेट कट की संभावना मजबूत कर दी है। CME फेडवॉच के अनुसार, 85% निवेशक फेड के रेट घटाने की उम्मीद कर रहे हैं।
बुधवार को सेंसेक्स के लगभग सभी स्टॉक हरे निशान में थे। शुरुआती कारोबार में अडानी पोर्ट्स, एक्सिस बैंक, ट्रेंट, टाटा स्टील और बजाज फाइनेंस में अच्छी बढ़त देखने को मिली। बैंकिंग, मेटल और फाइनेंशियल स्टॉक्स में खरीदारी ने मार्केट को मजबूती दी। निफ्टी मिडकैप और स्मॉलकैप इंडेक्स क्रमशः 1.13% और 1.21% चढ़े, जबकि सभी सेक्टोरल इंडेक्स भी बढ़त में रहे।
कच्चे तेल की गिरती कीमतों ने भी बाजार को सपोर्ट दिया। ब्रेंट क्रूड 62.48 डॉलर प्रति बैरल तक आ गया, जो 22 अक्टूबर के बाद का सबसे निचला स्तर है। रूस–यूक्रेन संघर्ष को सुलझाने की संभावनाएं भी ग्लोबल एनर्जी मार्केट में स्थिरता की उम्मीद बढ़ा रही हैं।
इसके अलावा, RBI की आगामी बैठक में 0.25% रेपो रेट कट की संभावना भी बाजार के लिए पॉजिटिव फैक्टर बन रही है। विदेशी निवेशकों (FIIs) और घरेलू निवेशकों द्वारा की गई भारी खरीदारी ने भी तेजी को मजबूत बनाया। बुधवार को FIIs ने 4,778 करोड़ और DIIs ने 6,247 करोड़ रुपये के शेयर खरीदे। एक्सपर्ट्स का मानना है कि आने वाले दिनों में भी बाजार में खरीदारी का माहौल बना रह सकता है।

