उत्तरकाशी जिले के धराली गांव में बादल फटने से भारी तबाही मची। यहाँ का यह खूबसूरत गांव प्राकृतिक आपदा के कारण मलबे में बदल गया है। चलिए हम जानें कि इस खूबसूरत गांव का इतिहास क्या है।

उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले में स्थित धराली गांव में मंगलवार को बादलों के फटने से भारी हानि पहुंची है. यह गांव हिमालय की गोद में बसा है और अपनी प्राकृतिक सुंदरता और शांत वातावरण के लिए प्रसिद्ध है. अब यहाँ मलबे और बाढ़ की चपेट में है. हम जान सकते हैं धाराली गांव के इतिहास और इसकी जनसंख्या के बारे में, जहाँ यह आपदा आई है
इतिहास धराली गांव का
धराली गाँव उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले में स्थित है, जो भागीरथी नदी के किनारे हर्षिल घाटी के पास समुद्र तल से लगभग 8,000 फीट की ऊँचाई पर स्थित है। यहाँ की प्राकृतिक सुंदरता, सेब के बागान और राजमा की खेती के लिए प्रसिद्ध है। धराली गंगोत्री के बीच एक महत्वपूर्ण स्थान है और गंगोत्री यात्रा के दौरान तीर्थयात्रियों और पर्यटकों के लिए एक शांत और आकर्षक स्थल के रूप में जाना जाता है। इस क्षेत्र का ऐतिहासिक महत्व भी है, क्योंकि यह गंगोत्री मंदिर के रास्ते पर स्थित है, जो हिंदू धर्म के चार धाम यात्रा का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। स्थानीय लोककथाओं के अनुसार, यहाँ लंबे समय से स्थानीय गढ़वाली समुदाय का निवास स्थान रहा है। धराली अपनी शांत वादियों और प्राकृतिक सौंदर्य के कारण देश-विदेश के पर्यटकों को आकर्षित करता है
इतिहास प्राचीन मंदिर का
भारत में धराली गांव में कई प्रसिद्ध मंदिर हैं, लेकिन इनमें कल्प केदार मंदिर का सबसे अधिक महत्व है। कहा जाता है कि इस मंदिर का वास्तुशिल्प केदारनाथ धाम से मिलता-जुलता है, जिसके कारण इसे कल्प केदार कहा जाता है। लोग कहते हैं कि यह मंदिर वर्षों से किसी आपदा के कारण जमीन में दबा था। 1945 में खीर गंगा के इस नाल का बहाव कुछ कम हुआ तो लोगों को इस मंदिर का शिखर दिखाई दिया। इसके बाद 20 फीट खुदाई की गई और एक पूरा शिव मंदिर सामने आया, जिसकी बनावट काफी प्राचीन थी
कितनी है जनसंख्या
धराली गांव उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले में स्थित एक छोटा और सुंदर गांव है। 2011 की जनगणना के अनुसार, यहां लगभग 600 लोग निवास करते हैं, जिनमें 307 पुरुष और 276 महिलाएं शामिल हैं। धार्मिक दृष्टिकोण से यह क्षेत्र मुख्य रूप से हिंदू बहुल है। चूंकि उत्तरकाशी जिले की लगभग 98% आबादी हिंदू है और मुस्लिम आबादी 1% से भी कम है, इसलिए धराली में भी यही अनुपात होने की संभावना है। यहां अधिकांश लोग हिंदू हैं और मुस्लिम समुदाय की संख्या नगण्य है। यह गांव धार्मिक पर्यटन के दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है और यहां की संस्कृति गहराई से हिंदू परंपराओं से जुड़ी हुई है
हाल की आई भारी तबाही
इस गाँव में मंगलवार, 5 अगस्त को एक भयंकर घटना ने सभी क्षेत्र को कायम कर दिया। खीर गंगा नाले में अचानक मलबे बहने लगे और बाढ़ ने कई घर, दुकानें और होटल-होमस्टे को भारी नुकसान पहुँचाया। कई होटल और होमस्टे इस बाढ़ में बह गए हैं। इस हादसे में अब तक 4 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि 50 से भी अधिक लोग लापता हैं