World Bank Report: भारत को विकसित देशों की कतार में शामिल होने के लिए प्रति व्यक्ति आय को बढ़ाने की जरूरत होगी, लेकिन विश्व बैंक के अनुसार यह राह आसान नहीं होने वाली है…
भारत की अर्थव्यवस्था लगातार अच्छा प्रदर्शन कर रही है और सबसे तेज तरक्की करने वाली प्रमुख अर्थव्यवस्था के रूप में देश की गिनती होती रही है. इसके दम पर भारत सरकार समेत कई एजेंसियों को लगता है
कि अगले कुछ साल में भारत की अर्थव्यवस्था अमेरिका के टक्कर की हो जाएगी. हालांकि उसके बाद भी भारत के सामने चुनौतियां कम नहीं हैं. भारत के सामने सबसे बड़ी चुनौती प्रति व्यक्ति आय को बेहतर बनाने की है.
75 साल में सिर्फ यहां पहुंचेगा भारत
विश्व बैंक ने एक हालिया रिपोर्ट में इसे लेकर अपनी चिंताएं जाहिर की हैं. विश्व बैंक की ‘वर्ल्ड डेवलपमेंट रिपोर्ट 2024: दी मिडिल इनकम ट्रैप’ में इस बात का डर उभरकर सामने आया है कि भारत मिडिल इनकम ट्रैप में फंस सकता है.
उसके चलते भारत अगले 75 साल में भी प्रति व्यक्ति आय के मामले में अमेरिका की बराबरी नहीं कर सकेगा. विश्व बैंक की मानें तो भारत को प्रति व्यक्ति आय के मामले में अमेरिका के एक चौथाई तक पहुंचने में ही 75 साल लग सकते हैं.
चीन को लगेंगे अभी 10 और साल
विश्व बैंक के अनुसार, भारत दुनिया के 100 से ज्यादा वैसे देशों में शामिल है, जिसकी उच्च-आय वाले देशों की कतार में शामिल होने की राह में गंभीर अवरोध हैं. विश्व बैंक के अनुसार, अगले कुछ दशकों तक भारत को हाई इनकम वाले देशों में एक बनने के लिए कई गंभीर चुनौतियों से पार पाना होगा.
वहीं चीन के बारे में विश्व बैंक का मानना है कि अमेरिका की प्रति व्यक्ति आय के एक चौथाई पर पहुंचने में उसे सिर्फ 10 साल लगने वाले हैं. इंडोनेशिया को यह मुकाम हासिल करने में 70 साल लग सकते हैं.
नीति आयोग ने भी कही थी ये बात
भारत सरकार के थिंकटैंक नीति आयोग ने भी पिछले महीने जारी एक रिपोर्ट में मिडिल इनकम ट्रैप के खतरे की बात की थी. आयोग ने भारत को विकसित बनाने के लिए ‘विजन फोर विकसित भारत @ 2047: ऐन अप्रोच पेपर’ में खाका प्रस्तुत किया था, जिसमें उसने कहा था कि विकसित भारत का लक्ष्य पाने के लिए अर्थव्यवस्था को 3.36 ट्रिलियन डॉलर के मौजूदा स्तर से 9 गुना वृद्धि करने की जरूरत है.
इसी तरह प्रति व्यक्ति आय को सालाना 2,392 डॉलर के स्तर से 8 गुना बढ़ाना होगा. आयोग ने ये भी कहा था कि भारत को मिडिल इनकम ट्रैप में फंसने से बचना होगा. उच्च-आय वाला देश बनने के लिए भारत को अगले 20-30 सालों तक 7 से 10 फीसदी की दर से आर्थिक वृद्धि की रफ्तार बरकरार रखने की जरूरत होगी.
क्या है मिडिल इनकम ट्रैप?
मिडिल इनकम ट्रैप के बारे में ऐतिहासिक आंकड़ों से पता चलता है. वैश्विक अर्थव्यवस्था के पिछले 50 साल के आंकड़े बताते हैं कि जब कोई देश अमेरिका की सालाना प्रति व्यक्ति जीडीपी के 10 फीसदी के स्तर पर पहुंचता है
तो उसके बाद वह अमूमन एक जाल यानी ट्रैप में फंस जाता है. विश्व बैंक के हिसाब से अमेरिका की सालाना प्रति व्यक्ति जीडीपी के 10 फीसदी तक पहुंचने वाले देशों को मिडिल इनकम कंट्री कहा जाता है. अभी इसका स्तर 80 हजार डॉलर (लगभग 67 लाख रुपये) है.