Delhi Farmers Protest: किसान नेता सुखविंदर सिंह सभरा ने दावा किया कि मंगलवार को 200 किसान यूनियन दिल्ली की तरफ कूच करेंगे. दिल्ली में एक महीने के लिए धारा 144 लागू है.
Delhi Chalo Protest: किसानों के आंदोलन को देखते हुए दिल्ली में एक महीने के लिए धारा 144 लागू कर दी गई है. दिल्ली पुलिस ने किसानों के ‘दिल्ली चलो’ मार्च की वजह से व्यापक पैमाने पर तनाव और सामाजिक अशांति पैदा होने की आशंका के मद्देनजर राष्ट्रीय राजधानी में एक महीने के लिए आपराधिक दंड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) की धारा 144 लागू कर दी है. धारा 144 लागू हो जाने के कारण राष्ट्रीय राजधानी में सभा करने, जुलूस या रैलियां निकालने और लोगों को लाने-ले जाने वाली ट्रैक्टर ट्रॉली के प्रवेश पर पूर्ण प्रतिबंध रहेगा.
किसान नेता ने क्या कहा?
पंजाब (किसान मजदूर संघर्ष कमेटी) केएमएससी अध्यक्ष सुखविंदर सिंह सभरा ने कहा, “कल सुबह…200 किसान यूनियनें दिल्ली की ओर मार्च करेंगी…जो आंदोलन अधूरा रह गया था उसे पूरा करने के लिए…9 राज्यों की किसान यूनियन संपर्क में हैं…पुडुचेरी, कर्नाटक, तमिलनाडु, एमपी, यूपी, उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश, हरियाणा, राजस्थान और पंजाब, ये सभी राज्य आंदोलन के लिए तैयार हैं.
दिल्ली में ट्रैक्टर रैलियों पर बैन
दिल्ली पुलिस आयुक्त संजय अरोड़ा द्वारा जारी आदेश के जरिए किसी भी प्रकार की रैली या जुलूस निकालने और सड़कों एवं मार्गों को अवरुद्ध करने पर रोक लगा दी गई है. यह आदेश 12 फरवरी से 12 मार्च तक लागू रहेगा. दिल्ली पुलिस के आदेश के तहत ट्रैक्टर रैलियों के राष्ट्रीय राजधानी की सीमाओं को पार करने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है. दिल्ली पुलिस ने ट्रैफिक एडवाइजरी भी जारी की है.
ऐसी संभावना है कि मार्च के दौरान पंजाब, उत्तर प्रदेश और हरियाणा से किसान दिल्ली में प्रवेश करने की कोशिश करेंगे. दिल्ली पुलिस आयुक्त के 11 फरवरी को जारी आदेश में कहा गया है कि संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम)(गैर-राजनीतिक), किसान मजदूर मोर्चा (केएमएम) और कई अन्य किसान यूनियन और संघों ने अपनी मांगों को लेकर दबाव बनाने के लिए संसद के बाहर विरोध प्रदर्शन करने के मकसद से 13 फरवरी को ‘दिल्ली चलो’ मार्च की घोषणा की है.
हिंसा होने का खतरा- पुलिस
इसमें कहा गया है, ‘‘मार्च में भाग लेने वालों के नयी दिल्ली क्षेत्र में प्रवेश करने के कारण व्यापक तनाव, सार्वजनिक उपद्रव, सार्वजनिक परेशानी, सामाजिक अशांति और हिंसा होने का खतरा है.’’
दिल्ली के लोगों के लिए खड़ी हो सकती हैं मुश्किलें
आदेश में कहा गया है, ‘‘प्रदर्शन में भाग लेने वाले लोगों द्वारा दिल्ली में प्रवेश करने के लिए परिवहन के साधन के रूप में ट्रैक्टर, ट्रॉली, ट्रेलर का उपयोग करने की संभावना है जिससे सड़कों पर अनिवार्य रूप से एक बड़ा खतरा पैदा हो सकता है और इससे सड़कों पर लोगों के आवागमन और दिल्ली के निवासियों के लिए मुश्किलें खड़ी हो सकती हैं.’’
इन चीजों पर लगा बैन
इसमें कहा गया है, ‘‘ऐसी आशंका है कि कुछ असामाजिक तत्व, प्रदर्शनकारी समूह स्थिति का फायदा उठा सकते हैं और दिल्ली में शांति, सार्वजनिक व्यवस्था के साथ-साथ कानून व्यवस्था के लिए हानिकारक गतिविधियों में शामिल हो सकते हैं.’’ आदेश में कहा गया है कि दिल्ली के क्षेत्र के भीतर सार्वजनिक स्थानों पर तेजाब जैसे पदार्थों, विस्फोटकों, फायरआर्म्स या हथियारों को ले जाने पर भी प्रतिबंध रहेगा.
गाड़ियों के गहन जांच के आदेश
आदेश में यह भी कहा गया है कि पुलिस हरियाणा और उत्तर प्रदेश राज्यों के निकटवर्ती जिलों की सीमाओं से आने वाले सभी वाहनों की कड़ी और गहन जांच करेगी. आदेश में आगे कहा गया है कि मौखिक, लिखित या इलेक्ट्रॉनिक माध्यमों से भावनाओं को भड़काने वाले कार्य करने, नारे लगाने, भाषण देने या संदेश भेजने पर प्रतिबंध रहेगा.
हरियाणा के कई जिलों में इंटरनेट बंद
वहीं गुरुग्राम प्रशासन भी किसान आंदोलन को लेकर अलर्ट है. हरियाणा के कई जिलों में किसान आंदोलन के मद्देनजर सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं. कई जिलों में इंटरनेट सेवाएं भी बंद कर दी गई हैं. जिला प्रशासन गुरुग्राम की तरफ से भी सतर्कता बरती जा रही है लेकिन जिला उपायुक्त निशांत यादव का कहना है कि गुरुग्राम में इस आंदोलन का कोई असर नजर नहीं आ रहा है. जिला उपायुक्त का यह भी कहना है कि गुरुग्राम के तमाम बॉर्डर पर पूरी तरह से सतर्कता बरती जा रही है. लेकिन गुरुग्राम में किसी भी तरह से इस आंदोलन में किसानों का कोई प्रभाव फिलहाल नजर नहीं आ रहा है.
झज्जर में धारा 144 लागू
इस बीच झज्जर पुलिस ने दिल्ली जाने वालों के लिए एडवाइजरी जारी की. रोहतक-झज्जर से दिल्ली जाने वालों को वाया फरुखनगर ,गुरुग्राम होकर दिल्ली जाना पड़ेगा. बहादुरगढ़ के सेक्टर 9 मोड़ के पास हरियाणा पुलिस ने थ्री लेयर बैरिकेडिंग की है. झज्जर में भी धारा 144 लागू की गई है. पैरामिलेट्री की दो कंपनियां और झज्जर पुलिस की 9 कंपनी सुरक्षा के लिए तैयार हैं.