Friday, November 8, 2024
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मुख्यमंत्रियों द्वारा पंजाब भर के डिप्टी कमिश्नरों के साथ मीटिंग

राज्य में लागू लोक हितैषी और विकासमुखी नीतियों की समीक्षा की
नागरिक सेवाएं लागू करने में किसी भी तरह की कोताही बर्दाश्त नहीं होगी: मुख्यमंत्री

पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने बुधवार को यहाँ सभी जिलों के डिप्टी कमिश्नरों के साथ उच्च स्तरीय बैठक की और राज्य में नागरिक सेवाएं मुहैया करने की समीक्षा की।
यहाँ पंजाब भवन में बैठक की अध्यक्षता करते हुए मुख्यमंत्री ने राज्य में घर-घर सेवाएं योजना को लागू करने पर जिलों की कारगुज़ारी पर संतुष्टी ज़ाहिर की। उन्होंने कहा कि इस महत्वाकांक्षी योजना का मंतव्य 43 नागरिक सेवाओं को लोगों के घर-घर तक पहुंचाना है। भगवंत सिंह मान ने डिप्टी कमिश्नरों को कहा कि लोगों की भलाई के लिए इस योजना को मिशनरी उत्साह से लागू करना सुनिश्चित बनाया जाए।
एक और एजंडे संबंधी बात करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि इस समय राज्य में 664 आम आदमी क्लीनिक कार्यशील हैं और अब तक इन क्लीनिकों में 98 लाख के करीब मरीज़ इलाज सुविधाओं का लाभ ले चुके हैं। उन्होंने कहा कि अब तक 40.50 करोड़ रुपए की दवाएँ और 5.77 करोड़ रुपए के लैब टैस्ट की सुविधा का लाभ मरीज़ उठा चुके हैं। भगवंत सिंह मान ने कहा कि 150 नये आम आदमी क्लीनिक जल्दी ही राज्य के लोगों को समर्पित किये जाएंगे, जिसके लिए सभी तैयारियाँ मुकम्मल कर ली गई हैं। उन्होंने डिप्टी कमिश्नरों को इन क्लीनिकों की बाकायदा जांच सुनिश्चित बनाने के लिए कहा।
मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि राज्य सरकार ने फ़ैसला किया है कि सरकारी अस्पतालों में डॉक्टरों द्वारा लिखी जाने वाली सभी दवाएँ मरीजों को अस्पताल के अंदर ही उपलब्ध करवाई जाएंगी। उन्होंने बताया कि जि़ला अस्पतालों और सब-डिवीजनल अस्पतालों में 276 दवाएँ पहले ही अनिवार्य दवाओं की सूची में शामिल की गई हैं। भगवंत सिंह मान ने कहा कि अनिवार्य दवाओं की सूची (ई.डी.एल.) के अलावा अन्य दवाओं की खरीद के लिए कार्य विधि (स्टैंडर्ड ऑपरेटिंग प्रोसीजर) जारी की गई है और डिप्टी कमिश्नर यह सुनिश्चित बनाऐंगे कि दवाएँ मरीजों के लिए उपलब्ध हों।
मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि राज्य सरकार ने सडक़ हादसों के पीडि़तों के लिए फरिश्ते स्कीम भी शुरू की है, जिसके अंतर्गत नज़दीकी सूचीबद्ध अस्पताल में पीडि़त का इलाज मुफ़्त किया जाएगा। उन्होंने डिप्टी कमिश्नरों को यह सुनिश्चित बनाने के लिए कहा कि जि़ला स्तरीय समितियाँ निर्धारित सीमा/दिनों से अधिक होने वाले खर्चे की बिना किसी देरी से पड़ताल करने को सुनिश्चित बनाएँ। भगवंत सिंह मान ने बताया कि राज्य भर में इस स्कीम के अंतर्गत 52 पैकेज निर्धारित किए गए हैं और 495 अस्पतालों को सूचीबद्ध किया गया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने हरेक गाँव में टेलों पर नहरी पानी मुहैया करने के लिए कई कदम उठाए हैं। उन्होंने डिप्टी कमिश्नरों को कहा कि वह इस समूची प्रक्रिया को जल्दी मुकम्मल करें, जिससे किसानों को लाभ मिले। भगवंत सिंह मान ने कहा कि राज्य सरकार किसानों की भलाई के लिए नहरी पानी के तर्कसंगत प्रयोग को सुनिश्चित बनाने के लिए वचनबद्ध है।
मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि राज्य सरकार अमृतसर, बठिंडा, फाजिल्का, फतेहगढ़ साहिब, जालंधर, कपूरथला, लुधियाना, एस.ए.एस नगर और तरनतारन जिलों में 13 नए स्कूल ऑफ ऐमिनेंस खोलेगी। उन्होंने सम्बन्धित जिलों के डिप्टी कमिश्नरों को इन स्कूलों के समय पर शुरू होने को सुनिश्चित बनाने के लिए कहा, जिससे विद्यार्थियों को इसका अधिक से अधिक लाभ मिल सके। भगवंत सिंह मान ने डिप्टी कमिश्नरों को सभी स्कूलों में 31 मार्च तक चारदीवारी, पखाने, फर्नीचर, पीने वाले पानी की सुविधा के साथ-साथ इंटरनैट/वाई-फाई की सुविधा सुनिश्चित बनाने के लिए भी कहा।
मुख्यमंत्री ने डिप्टी कमिश्नरों को जि़ला शिक्षा विकास समिति के साथ लगातार बैठकें करने के अलावा स्कूलों का औचक दौरा करने के लिए भी कहा। उन्होंने अधिकारियों को विद्यार्थियों के लिए स्कूली वर्दियाँ समय पर सुनिश्चित बनाने के साथ-साथ जि़ला स्तर पर स्कूली शिक्षा के अलग प्रोजेक्टों की पहचान करने के लिए कहा। भगवंत सिंह मान ने स्कूल कैंपस के अंदर ख़तरा बने वृक्षों और असुरक्षित इमारतों संबंधी एस.ओ.पीज लागू करने की ज़रूरत पर ज़ोर दिया।
मुख्यमंत्री ने डिप्टी कमिश्नरों को एक ओर गाँवों के विकास को बढ़ावा देने और दूसरी ओर ज़रूरतमंदों के लिए रोजग़ार मुहैया करवाने के लिए मनरेगा स्कीम के सुचारू प्रयोग करने के लिए भी कहा। उन्होंने कहा कि अब तक राज्य में इस स्कीम के अंतर्गत 308 लाख दिहाडिय़ाँ पैदा करके 8.17 लाख परिवारों को रोजग़ार दिया जा चुका है। भगवंत सिंह मान ने कहा कि राज्य ने सभी जिलों के लिए 2000 करोड़ रुपए के खर्च करने का लक्ष्य निर्धारित किया है, जिसको सभी जिलों के लिए 440 लाख दिहाडिय़ों में बाँटा गया है। उन्होंने सभी डिप्टी कमिश्नरों को मौजूदा वित्तीय वर्ष में यह लक्ष्य प्राप्त करना सुनिश्चित बनाने के लिए कहा।
एक अन्य मुद्दे पर ध्यान देते हुए मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को दिल्ली-अमृतसर-कटड़ा राष्ट्रीय राजमार्ग के निर्माण कार्य में तेज़ी लाने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि इस महत्वाकांक्षी प्रोजैक्ट के मुकम्मल होने पर दिल्ली से पंजाब और जम्मू-कश्मीर जाने वाले यात्रियों ख़ासकर माता वैष्णो देवी तीर्थ स्थान पर माथा टेकने के इच्छुक यात्रियों के समय, पैसे और ऊर्जा की बचत होगी। भगवंत सिंह मान ने बताया कि 254 किलोमीटर लंबा यह हाईवे 11,510 करोड़ रुपए की लागत से बनाया जायेगा और यह राज्य के 9 जिलों जालंधर, संगरूर, मालेरकोटला, पटियाला, कपूरथला, लुधियाना, अमृतसर, तरन तारन और गुरदासपुर से होकर गुजऱेगा।
मुख्यमंत्री ने डिप्टी कमिश्नरों को कहा कि वह अपने अधिकार क्षेत्र में सडक़ों के उचित रख-रखाव को सुनिश्चित बनाएँ। उन्होंने कहा कि सडक़ों की देखभाल के लिए पी.डब्ल्यू.डी. के अधिकारियों को पहले ही फंड अलॉट कर दिए गए हैं। भगवंत सिंह मान ने कहा कि सडक़ों पर यात्रियों की यातायात सुचारू बनाए रखने के लिए सरकार कोई कसर बाकी नहीं छोड़ेगी।

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